69000 बेसिक शिक्षक भर्ती में आरक्षण के नियमों का संवैधानिक पालन न करने के सम्बन्ध में।
महोदया,
सविनय निवेदन है कि
★उत्तर प्रदेश में 69000 बेसिक शिक्षक भर्ती की प्रक्रिया गतिमान है जिसका शासनादेश 05 दिसम्बर 2018 को जारी किया गया था एवं इस भर्ती की लिखित परीक्षा 6 जनवरी 2019 को सम्पन्न हुई थी और परीक्षाफल 12 मई 2020 को जारी किया गया।
★भर्ती प्रक्रिया में अंतिम चयन सूची 01 जून 2020 को जारी की गई जिसमें विभाग के द्वारा आरक्षण के नियमों का पालन नहीं किया गया है। भर्ती प्रक्रिया में विभाग के द्वारा एम.आर.सी. को गलत तरीके से लगाकर आरक्षित वर्ग को चयन से बाहर कर दिया गया है।
★एमआर.सी. के संबंध में अभी हाल ही में माननीय उच्च न्यायालय लखनऊ खण्डपीठ ने एक आदेश ( रिट सं०-19737 / 2018 ) जारी किया है जिसमें माननीय न्यायाधीश महोदय जी ने एम.आर.सी. का प्रयोग जिला आवंटन करने में विभाग को आदेशित किया है न कि चयन सूची जारी करने में जिस आदेश का पालन विभाग को पिछली बेसिक शिक्षक भर्ती 68500 में करना जिसमें आरक्षित वर्ग के अभ्यर्थी को जिला आवंटित करने में मेरिट का ध्यान रखकर जिला आवंटित किया जाना है।
★लेकिन महोदय, 69000 शिक्षक भर्ती में विभाग के द्वारा एम.आर.सी. का प्रयोग जिला आवंटन में न करके सीधे चयन सूची जारी करने में कर दिया गया है जिससे अधिकांश संख्या में आरक्षित वर्ग का अभ्यर्थी चयन से बाहर हो गया है।
★भर्ती प्रक्रिया में 69000 सीटों के सापेक्ष लम्बवत् एवं क्षैतिज आरक्षित सीटों को निकालकर अनारक्षित सीटों की संख्या लगभग 32085 सीटें निर्धारित रह जाती हैं,जिन अनारक्षित सीटों पर समस्त वर्ग के उच्च मेरिटधारी अभ्यर्थियों का चयन बेसिक शिक्षा नियमावली 1994 के अनुसार किया जाना चाहिए।
★जबकि बेसिक शिक्षा विभाग द्वारा जारी की गई चयन सूची में किसी भी वर्ग की कैटेगरी, योग गुणांक का उल्लेख चयन सूची में नहीं किया गया है।
★महोदय,आपसे विनम्र निवेदन करते हुए आशा करता हूँ कि बेसिक शिक्षा विभाग से जवाबदेही प्राप्त कर उचित कार्यवाही करने की कृपा करें जिससे आरक्षित वर्ग के अभ्यर्थियों का अहित न हो।